क्या मान के भ्र्ष्टाचार विरुद्ध मुहीम को फेल करवाएगा अपना ही सरकारी तंत्र ?

क्या मान के भ्र्ष्टाचार विरुद्ध मुहीम को फेल करवाएगा अपना

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किसे बचाने को टेंडरों में कमीशन खोरी के आरोपी एसई कंवर के बचाव में आया सरकारी तंत्र
एसई कंवर के अलाट किए 1 हजार करोड़ के टेंडरों की जाँच की उठी मांग

लुधियाना 09 जुलाई : पंजाब सरकार के सरकारी तंत्र का एक गुट अपनी ही मान सरकार की फजीहत करवाने के प्रयास में नजर आने के चर्चाएं जोरों पर है। गौरतलब है की गत दिनों विजिलेंस द्वारा नगर निगम के विकास कार्यों में रिश्वतखोरी के आरोपों में पकड़े गए एसई संजय कंवर
नाभा जेल की कैद में है जिन्हे किसी और ने नहीं बल्कि पंजाब सरकार की विजिलेंस टीम ने अपनी जाँच में दोषी पाए जाने के बाद पकड़ा गया चर्चा है की एसइ कवर पंजाब के बड़े अधिकारीयों की शह एवं मिली भगत से टेंडरों में 10 से 20 % कमीशनिंग के खेल को अंजाम दे रहा था जिसे विजिलेंस ने चुनावी जल्द बाजी में पकड़ तो लिया और शुरुआत में खूब वाह वही भी मिली लेकिन चुनाव खतम होते ही सरकारी तंत्र यूटर्न लेते नजर आ रहे है क्योकि एस ई कवर के राज खुलने से ड्रग क्वीन की तरह बड़े आईएएस अधिकारीयों के नाम बाहर आने का खतरा है इसलिए सरकारी तंत्र का एक बड़ा वर्ग अपनी जान बचाने को सीएम मान की भ्र्ष्टाचार विरुद्ध मुहीम को फेल करने में जुट चुके है।

चर्चा है की सरकारी तंत्र अपने कई भ्र्ष्ट अधिकारीयों एवं वकीलों की मदद से केस को कमजोर करते हुए आधा अधूरा चालान पेश करने में जुटा है। उधर रोज गार्डन टेंडर के बाद इंटरनैशनल बास्केट बाल स्टेडियमों के निर्माण पूरा होने से पहले ही लीक हो जाने से भी मामले ने तूल पकड़ लिया है क्योकि रोजगार्डन टेंडर में 90 लाख तो बास्केट बाल टेंडर में 2 करोड़ की रिश्वत की चर्चाओं ने एस ई द्वारा स्मार्ट सिटी के तहत १ हजार करोड़ के अलॉट किए टेंडरों पर ऊँगली खड़ी कर दी है ऐसे में कही 1000 करोड़ के टेंडरों की जाँच खुली तो अच्छे अच्छों को पैसे तो लौटने पड़ सकते है वही नामों का खुलासा होने से बदनामी होगी अलग। उधर इतने बड़े घोटाले सामने आने के बाद भी मजबूत विपक्ष का दवा करने वाली बीजेपी और कांग्रेस की मूक दर्शाता उनकी बेबसी और मिली भगत की चर्चाओं को जन्म दे रहा है।

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