गणतंत्र दिवस के समारोह में लोक-समूह नृत्य में शामिल रहीं पीयू की तीन छात्राएं
चंडीगढ़ 28 जनवरी। पंजाब यूनिवर्सिटी की छात्राओं ने गणतंत्र दिवस परेड में शानदार प्रदर्शन कर गिनीज वर्ल्ड रिकॉर्ड में अपना नाम दर्ज कराया। चंडीगढ़ में अपनी डिग्री की पढ़ाई पीयू से कर रहीं इन छात्राओं के लिए यह पहला मौका था, जब इन्होंने इस परेड का हिस्सा बनने का सोचा। उन्हें नहीं पता था कि वे भी इस रिकार्ड का हिस्सा बन जाएंगी।
पंजाब यूनिवर्सिटी के लिए एक गर्व का पल, जब तीन छात्रों ने कर्तव्य पथ, नई दिल्ली में आयोजित प्रतिष्ठित गणतंत्र दिवस परेड में पंजाब राज्य का प्रतिनिधित्व किया। “जयंती जय मम भरतम 2025” नामक इस आयोजन में देश भर के 5,000 से अधिक कलाकारों ने 29 लोक और 22 आदिवासी नृत्य रूपों का शानदार प्रदर्शन किया। जिस वजह से यह प्रदर्शन के लिए लिम्का रिकार्ड बना। यह 5000 लोग सारे भारत से थे, इनमें कुछ आदिवासी इलाकों से भी आए थे।
प्रतिभागियों ने अपने रंगीन परिधानों, ऊर्जावान मुद्राओं और लयबद्ध तालों के साथ दर्शकों को मंत्रमुग्ध कर दिया, जिससे भारत की विविध सांस्कृतिक विरासत का जश्न मनाया गया। इस प्रदर्शन ने “सबसे बड़े लोक नृत्य प्रदर्शन में लोगों का सबसे बड़ा जमावड़ा” के लिए गिनीज वर्ल्ड रिकॉर्ड भी हासिल किया, जो देश के लिए एक ऐतिहासिक पल था।
प्रतिभागियों में अर्शी परुथी चंडीगढ की रहने वाली हैं (सेकेंड ईयर इकॉनामिक्स), श्रुति गर्ग मानसा की रहने वाली हैं (सेंटर ऑफ सोशल वर्क), वहीं कैफी छाबरा गिदड़बाहा की रहने वाली हैं फर्स्ट ईयर मैथ्स की छात्रा, भी शामिल थीं। यह आयोजन संस्कृति मंत्रालय द्वारा संगीत नाटक अकादमी और राष्ट्रीय नाट्य स्कूल के सहयोग से आयोजित किया गया था।
दिल्ली से देर शाम ही चंडीगढ़ लौटी छात्राओं और इनके पेरैंट्स में खुशी की लहर है। उन्हें अपनी बिटिया पर बहुत नाज है। अर्शी के पिता राजेश बोले कि आखिर कार इतने दिन की मेहनत रंग लाई है। और उन्होंने न केवल अपनी यूनिवर्सिटी बल्कि चंडीगढ़ को भी पेश किया है।
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