सिख समाज एक बहादुर कौम, धर्म की रक्षा के लिए सिर कटा दिये, लेकिन झुके नहीं – मुख्यमंत्री नायब सिंह सैनी 1984 सिख दंगों के पीड़ित परिवारों की पीड़ा हमारी पीड़ा, सिख समाज का संघर्ष हम सब के लिए प्रेरणादायक सिख समाज की कुर्बानियों तथा वीरता पर भारतवासियों को गर्व समाज में नफरत फैलाने वाली ताकतों के खिलाफ हमेशा रहना होगा सतर्क 1984 के दंगा पीड़ितों को सरकारी नौकरी देने की घोषणा पर सिख समाज ने जताया मुख्यमंत्री का आभार

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चण्डीगढ़, 26 सितम्बर – हरियाणा के मुख्यमंत्री श्री नायब सिंह सैनी ने कहा कि सिख समाज एक बहादुर कौम है, जिसने धर्म की रक्षा के लिए सिर कटा दिये, लेकिन झुके नहीं। 1984 सिख दंगों में पीडित परिवारों की पीड़ा हमारी पीड़ा है और सिख समाज का संघर्ष हम सब के लिए प्रेरणादायी है व उनका आत्म-सम्मान सर्वोपरि है।

मुख्यमंत्री श्री नायब सिंह सैनी आज यहां प्रदेश भर से आए सिख समाज के लोगों को सम्बोधित कर रहे थे। प्रदेश सरकार द्वारा मानसून सत्र के दौरान 1984 के दंगा पीड़ितों को सरकारी नौकरी देने का प्रस्ताव पारित करने पर सिख समाज ने आज मुख्यमंत्री का सम्मान एवं आभार व्यक्त किया। ऐसे 121 परिवारों के एक-एक सदस्य को सरकारी नौकरी देने का प्रावधान किया गया था, जिनके किसी सदस्य की जान दंगों में चली गई थी।

उन्होंने कहा कि सिख समाज की कुर्बानियों तथा वीरता पर सभी भारतवासियों को भी गर्व है। गुरुओं के आदर्शों व सिद्धान्तों पर चलते हुए जहां स्वतंत्रता आन्दोलन में बढ़चढ़ कर भाग लिया, वहीं आजादी के बाद भारत माता की रक्षा के लिए बड़ी-बड़ी कुर्बानियां दी हैं।

1984 के काले दिन भारतीय लोकतंत्र और मानवता के इतिहास में एक कलंक के रूप में अंकित

श्री नायब सिंह सैनी ने कहा कि सिखों की सेवा भावना भी विश्व विख्यात है। जहां भी मानवता पर संकट आता है, वहां पर उनकी रक्षा और सेवा के लिए पहुंच जाते हैं। लेकिन जिस समाज ने देश व धर्म की रक्षा के लिए अपने प्राणों की आहुति दी उसी समाज को वर्ष 1984 में निर्दयता से जख्मी किया गया। 1984 के वे काले दिन भारतीय लोकतंत्र और मानवता के इतिहास में एक कलंक के रूप में अंकित हैं। निर्दोष सिख समाज के हजारों लोगों ने उस हिंसा में अपने प्रियजनों को खो दिया और अपने घर-बार से उजड़ गए।

1984 दंगों के पीड़ित परिवारों को न्याय दिलाने के लिए उठाए ठोस कदमसम्मान देने का भी किया का

मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में सरकार ने सत्ता में आने के बाद यह संकल्प लिया कि वर्ष 1984 की त्रासदी को कभी भुलाया नहीं जा सकता। पीड़ित परिवारों को न्याय दिलाने के लिए ठोस कदम उठाने के साथ साथ  उन्हें सम्मान भी दिया जाएगा। हमने विशेष जांच आयोग गठित किए, दोषियों को सजा दिलाने की प्रक्रिया को तेज किया और मुआवजा योजनाओं को लागू किया। हम यह सुनिश्चित कर रहे हैं कि किसी परिवार को न्याय से वंचित न रहना पड़े। प्रदेश में किसी भी नागरिक के साथ, उसकी जाति, धर्म, भाषा या क्षेत्र के आधार पर अन्याय नहीं होगा।

हर कदम पर डबल इंजन सरकार ने श्रद्धा और सम्मान के साथ किया काम

उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी ने भी सिख समाज के योगदान के प्रति बार-बार कृतज्ञता व्यक्त की हैं। प्रधानमंत्री की पहल पर ‘आजादी का अमृत महोत्सव‘ में श्री गुरु तेग बहादुर जी के 400 वें प्रकाश वर्ष को देश-भर में मनाया तथा उनकी स्मृति में डाक टिकट और एक सिक्का भी जारी किया गया। उन्होंने दशम पातशाह श्री गुरु गोबिंद सिंह जी के साहबजादों जोरावर सिंह और फतेह सिंह के शहीदी दिवस को हर वर्ष ‘वीर बाल दिवस‘ के रूप में मनाने का निर्णय लिया। हरियाणा में श्री गुरु नानक देव जी का 550वां प्रकाश पर्व, श्री गुरु गोबिंद सिंह जी का 350वां प्रकाश पर्व हो या करतारपुर कॉरिडोर की शुरुआत, हर कदम पर हमारी डबल इंजन सरकार ने श्रद्धा और सम्मान के साथ काम किया है।

प्रदेश सरकार शिक्षण संस्थानों का नाम रख रही है गुरुओं के नाम पर

श्री नायब सिंह सैनी ने कहा कि दिसम्बर, 2022 में हरियाणा सिख गुरुद्वारा प्रबंधन समिति की स्थापना की गई। इससे सिख समुदाय को स्वायत्तता मिली है। सिरसा स्थित गुरुद्वारा श्री चिल्ला साहिब को 70 कनाल भूमि स्थानांतरित की गई। उन्होंने कहा कि यमुनानगर में बनने वाले मेडिकल कॉलेज का नाम श्री गुरु तेग बहादुर सिंह जी के नाम पर रखा गया है। इसी प्रकार, असंध के कॉलेज का नाम श्री गुरु गोबिंद सिंह जी के छोटे बेटे बाबा फतेह सिंह जी के नाम पर रखा गया है।

तीर्थ यात्रियों के लिए स्वर्ण जयंती गुरु दर्शन यात्रा योजना‘ की गई शुरू

मुख्यमंत्री ने कहा कि लोगों की आस्था को देखते हुए श्री हजूर साहिब गुरुद्वारा, श्री ननकाना साहिब, श्री हेमकुण्ड साहिब और श्री पटना साहिब जाने वाले प्रदेश के तीर्थ यात्रियों को वित्तीय सहायता उपलब्ध करवाने के उद्देश्य से ‘स्वर्ण जयंती गुरु दर्शन यात्रा योजना‘ शुरू की गई है।

श्री नायब सिंह सैनी ने कहा कि वर्ष 1984 की घटना हमें यह भी सिखाती है कि समाज में नफरत फैलाने वाली ताकतों के खिलाफ हमेशा सतर्क रहना होगा और कभी भी विभाजन की राजनीति में नहीं फंसना है। 1984 की पीड़ा और उसके बाद न्याय पाने के संघर्ष ने हमें सिखाया हैं कि न्याय के लिए लड़ाई लंबी व कठिन हो सकती है। लेकिन जीत न्याय की ही होती है। हम मिलकर एक ‘विकसित भारत-विकसित हरियाणा‘ का निर्माण करेंगे, जहां केवल भाईचारे, प्रेम और न्याय का बोलबाला होगा।

इस अवसर पर मुख्यमंत्री के ओएसडी श्री भारत भूषण भारती, डॉ प्रभलीन सिंह, मुख्यमंत्री के मीडिया सचिव श्री प्रवीन आत्रेय, बाबा गुलाब सिंह, बाबा कश्मीर सिंह, बाबा गुरदीप सिंह, बाबा दविन्द्र सिंह सहित प्रदेशभर से आए सिख समाज के लोग उपस्थित रहे।

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