– खरीद सीज़न खत्म होने तक स्टाफ के लिए कोई छुट्टी नहीं
– पंजाब ने 124 लाख मीट्रिक टन गेहूँ का लक्ष्य रखा, 28,894 करोड़ रुपये सी.सी.एल. राशि के भी किये प्रबंधन
लुधियाना, 6 अप्रैल – खाद्य, नागरिक आपूर्ति और उपभोक्ता मामलों के मंत्री लाल चंद कटारूचक्क द्वारा दी गई जानकारी में बताया गया कि राज्य सरकार पंजाब भर की 1,864 अनाज मंडियां किसानों के स्वागत के लिए पूरी तरह तैयार है और गेहूँ की खरीद के लिए सारी तैयारियाँ पूरी कर ली गयी हैं।
राज्य की अनाज मंडियों में पीने का पानी, सफाई, बोरियों, पंखों, परिवहन और आवास की व्यवस्थाओं का पूरा ध्यान रखा जा रहा है, और किसानों को अपनी गेहूँ बेचने के दौरान किसी प्रकार की दिक्कत का सामना नहीं करना पड़ेगा।
खरीद कार्यों में लगे स्टाफ को कोई भी छुट्टी नहीं दी जाएगी जब तक कोई ठोस कारण न हो और उन्हें किसानों की सुविधा के लिए अनाज मंडियों में मौजूद रहना होगा।
रविवार को यहां लुधियाना, मोगा, फरीदकोट, फिरोजपुर और बरनाला जिलों के अधिकारियों के साथ तैयारियों का जायजा लेने के बाद कैबिनेट मंत्री ने बताया कि मुख्यमंत्री भगवंत सिंह मान की अगुवाई में राज्य सरकार ने मौजूदा गेहूँ खरीद सीज़न के दौरान 8 लाख से अधिक किसानों की मदद के लिए पुख्ता प्रबंध किए हैं। उन्होंने बताया कि पंजाब में इस साल गेहूँ की बम्पर फसल होने की उम्मीद है और 124 लाख मीट्रिक टन गेहूँ की खरीद का लक्ष्य है। उन्होंने यह भी साझा किया कि राज्य ने 28,894 करोड़ रुपये कैश क्रेडिट लिमिट का प्रबंधन किया है और बहुत सारी स्टोरेज स्पेस और कंटेनरों के साथ जरूरत के 99 फीसद बारदाने को प्राप्त करने में भी सफल रहा है।
कैबिनेट मंत्री कटारूचक्क ने यह भी बताया कि फसल की देखभाल के लिए राज्य ने नियमित खरीद केंद्रों के अलावा 600 अस्थायी खरीद केंद्र भी स्थापित किए हैं और किसानों से वादा किया है कि न्यूनतम समर्थन मूल्य (एम.एस.पी.) 2,425 रुपये प्रति क्विंटल के हिसाब से उनकी अदायगियाँ उनकी गेहूँ बेचने के 24 घंटे के अंदर- अंदर उनके खातों में डाल दी जाएंगी।
कैबिनेट मंत्री ने स्पष्ट किया कि राज्य सरकार किसानों द्वारा लाए गए एक-एक दाने को खरीदने के लिए वचनबद्ध है और वह इस प्रक्रिया में किसी भी प्रकार की ढिलाई सहन नहीं की जाएगी।
समीक्षा बैठक में कटारूचक्क ने किसानों के लिए मंडियों में सफाई, पीने के पानी, रौशनी और छायादार स्थानों जैसी सुविधाओं का जायजा लिया। उन्होंने अधिकारियों को पूरे सीज़न के दौरान मंडियों में रहने के निर्देश दिए ताकि किसानों को किसी भी प्रकार की मुश्किल का सामना न करना पड़े। उन्होंने मंडियों में फर्स्ट एड मेडिकल किटों की उपलब्धता को सुनिश्चित करने के लिए भी कहा।
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