तत्कालीन डीएसपी और एसएसपी को भी आयोग के समक्ष उपस्थित होने का आदेश
चरणजीत सिंह चन्न
जगरांव 30 मार्च। न्याय की उम्मीद में तीन साल से जगरांव पुलिस स्टेशन के समक्ष संघर्ष कर रहे पीड़ितों पंजाब राज्य अनुसूचित जाति आयोग ने अहम आदेश दिया। आयोग ने डीसी लुधियाना, एसएसपी जगरांव और डीआईजी लुधियाना को नोटिस भेजकर मामले की कार्रवाई और मुआवजे के संबंध में स्टेटस रिपोर्ट मांगी है।
याचिकाकर्ता इकबाल सिंह रसूलपुर व पीड़िता मनप्रीत कौर ने आरोप लगाया कि तत्कालीन एसएचओ गुरिंदर बल व एएसआई राजवीर सिंह ने सारी हदें पार कर दी थीं। अवैध हिरासत में रहते हुए दोनों परिवारों पर अत्याचार किए। अनुसूचित जाति आयोग के आदेशों के बावजूद स्थानीय पुलिस ने दोनों परिवारों के खिलाफ अत्याचार का मामला दर्ज नहीं किया, बल्कि एक परिवार की पीड़ित बेटी कुलवंत कौर की मौत के बाद 2021 में अधूरी एफआईआर दर्ज की। आरोपियों की गिरफ्तारी के लिए दर्ज मामले को खारिज करते हुए माननीय न्यायालय में रिपोर्ट दाखिल की गई। हालांकि अदालत ने रिपोर्ट को खारिज कर दिया और दिसंबर 2023 में महिला एआईजी रैंक के राजपत्रित अधिकारी से जांच के आदेश दिए, लेकिन आज तक कोई कार्रवाई नहीं हुई। उन्होंने कहा कि पुलिस अधिकारियों की लापरवाही का पूरा मामला जब आयोग के नवनियुक्त चेयरमैन जसबीर सिंह गढ़ी के ध्यान में लाया गया। उन्होंने मामले की गंभीरता को देखते हुए जिला सिविल व पुलिस अधिकारियों से एक अप्रैल को स्टेटस रिपोर्ट मांगी है।
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