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कहने को तो बैन, लेकिन खुलम खुला बिक रहा प्लास्टिक लिफाफा

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निगम अफसर कागजों में दिखाने को कभी कबार 1-2 दुकानों पर करते हैं रेड

(राजदीप सिंह सैनी)
लुधियाना 20 अप्रैल। पंजाब में बेशक पंजाब सरकार की और से प्लास्टिक लिफाफे पर बैन कर रखा है। यहां तक कि राज्य में प्लास्टिक बनाने वाली सभी फैक्ट्रियां भी बंद करवा दी गई। कारोबार ठप होने के कारण कई कारोबारी खुदकुशी तक कर गए। जिसके बावजूद भी पंजाब के कारोबारी हब लुधियाना शहर में सरेआम प्लास्टिक लिफाफा बेचा जा रहा है। यह लिफाफा पंजाब में नहीं बल्कि दुसरी स्टेटों से बनकर आ रहा है। जिसके बाद धड़ल्ले से लुधियाना में बेचा जा रहा है। जबकि दुकानदार भी उसे बेखौफ तरीके से आगे ग्राहकों को सामान डालकर सप्लाई कर रहे हैं। उक्त लिफाफा मुंबई, दिल्ली व गुजरात से आ रहा है, जिसका साइज भी 30 से 40 माइक्रोन है। जबकि सरकार ने 40 माइक्रोन तक लिफाफे बनाने वाली पंजाब की इंडस्ट्री को बंद कर दिया था। लेकिन प्लास्टिक लिफाफे पर कार्रवाई करने वाला नगर निगम विभाग आंखें बंद करके बैठा है। हैरानी की बात तो यह है कि नगर निगम के अधिकारियों द्वारा अक्सर सरकार के आदेशों के बाद 1-2 दुकानों पर रेड करके लिफाफे पकड़कर फोटोएं खिंचवा ली जाती है। ताकि कागजों में कार्रवाई दिखाई जा सके। लेकिन उसके बाद एकदम शांत होकर बैठ जाते हैं। लोगों में चर्चा है कि शायद आपसी सेटिंग के चलते निगम द्वारा कोई एक्शन नहीं लिया जाता।

केसरगंज मंडी, गिल रोड व विश्वकर्मा कॉलोनी में बिक रहे लिफाफे
जानकारी के अनुसार केसरगंज मंडी, गिल रोड और ढोलेवाल की विश्वकर्मा कॉलोनी में सरेआम लिफाफे बेचे जा रहे हैं। यहां तक कि हर दुकान पर 200 से 500 लिफाफा पड़ा रहता है। ग्राहकों को उन्हीं लिफाफों में सामान दिया जाता है। हालांकि इन इलाकों में निगम अधिकारी घूमते भी हैं, लेकिन फिर भी कोई एक्शन नहीं लिया जाता।

निगम ऑफिस के आगे ही मार्केटों में इस्तेमाल हो रहे लिफाफे
नगर निगम का मुख्य ऑफिस जोन-ए के आगे घंटा घर, चौड़ा बाजार, इलेक्ट्रानिक मार्केट, अकालगढ़ मार्केट, बुक्स मार्केट समेत तमाम बाजार हैं। जहां सरेआम दुकानदार लोगों को लिफाफे बेच रहे हैं। रोजाना निगम अधिकारी इन बाजारों से निकलकर ऑफिस जाते हैं और फिर फिल्ड में होने के दौरान वहीं घूमते हैं। जिसके बाद भी कोई अधिकारी इन पर एक्शन नहीं लेता। जिससे अंदाजा लगाया जा सकता है कि किस कदर अधिकारियों की सेटिंग है कि वह देखकर भी कार्रवाई नहीं करते।

सरकार ने 10 हजार इंडस्ट्री करवाई बंद, बाहर से मंगवा रहे लिफाफे
केंद्र सरकार और पंजाब की आम आदमी पार्टी की सरकार की और से प्रदूषण फ्री स्टेट बनाने के मकसद से राज्य में प्लास्टिक बैन किया। जिसके चलते 10 हजार के करीब प्लास्टिक इंडस्ट्री बंद हो गई। लेकिन अब वहीं 40 माइक्रोन लिफाफा दूसरी स्टेटों से दुकानदार मंगवा रहे हैं। लोगों में चर्चा है कि सरकार के नुमाइंदों व अधिकारियों को इसकी अच्छे से जानकारी है। लेकिन वह आपसी सेटिंग होने के चलते कुछ बोलते नहीं हैं। जिसे देख लगता है कि पंजाब की सरकार अपनी स्टेट की ही इंडस्ट्री को बंद करने में लगी हुई है।

20 माइक्रोन तक की परमिशन नहीं दी गई
लुधियाना के प्लास्टिक कारोबारियों की और से कुछ समय पहले 20 माइक्रोन तक लिफाफे बनाने की परमिशन देने की अपील की थी। लेकिन आज तक वह मांग पूरी नहीं हो सकी। जबकि दूसरी स्टेटों से 50 माइक्रोन तक लिफाफा आ रहा है। जिसे देख लगता है कि पंजाब सरकार दूसरी स्टेटों की इंडस्ट्री आगे बढ़ाने में लगी है।

पहले छिपाकर और अब सरेआम लिफाफे दे रहे दुकानदार
जानकारी के अनुसार जब प्लास्टिक लिफाफों पर बैन हुआ तो दुकानदार लिफाफे नीचे छिपा लेते थे। ग्राहक आने पर चुपके से लिफाफा देकर भेज देते थे। यहां तक कि कई दुकानदारों ने ग्राहकों को घर से कैरी बैग लाने को कह दिया था। लेकिन निगम द्वारा कार्रवाई ठंडे बस्ते में डालने के बाद दुकानदारों में भी डर खत्म हो गया। जिसके चलते अब सरेआम सामान लिफाफों में दिया जा रहा है।

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