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SBI बैंक में मैनेजर व हेड कैशियर ने खाता धारकों के फर्जी साइन कर निकाला लाखों रुपए कैश, लॉकर से करोड़ों का सोना व कैश गायब

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बठिंडा 20 सितंबर। पंजाब के भारतीय स्टेट बैंक के अधिकारियों द्वारा खाता धारकों के साथ ही करोड़ों रुपए की ठगी कर ली गई। ठगी इतने शातिर तरीके से की कि किसी को कानों कान खबर नहीं पता चल सकी। मामला बठिंडा की भारतीय स्टेट बैंक की शेखपुरा ब्रांच का है। जहां पर मैनेजर व हेड कैशियर की और से जालसाजी का नेटवर्क चलाया जा रहा था। उनकी और से खाता धारकों के फर्जी हस्ताक्षर और अंगूठा लगाकर खातों से लाखों रुपए कैश निकाल लिया गया। जबकि ग्राहकों के लॉकर से करोड़ों का सोना व एटीएम से लाखों का कैश चोरी कर लिया गया। इस मामले में थाना तलवंडी साबों पुलिस ने आरंभिक जांच के बाद प्यारा सिंह निवासी गांव संदोहा की शिकायत पर बैंक के हैड कैशियर हरविंदर सिंह व मैनेजर के खिलाफ विभिन्न धाराओं के तहत मामला दर्ज किया है। जबकि ग्राहकों की शिकायत के आधार पर बैंक मैनेजर की संलिप्तता की जांच की जा रही है।

2.65 करोड़ का सोना, 39.41 लाख कैश चुराया
ग्राहकों की शिकायत के बाद पुलिस ने जांच की तो आरंभिक जांच में ही कुल 39 लाख 41 हजार 400 रुपए ग्राहकों के खातों से निकाले गए, जबकि बैंक की तिजौरी से 342 ग्राम 27 मिलीग्राम सोना और 15 लाख 84 हजार रुपए एटीएम निकाले गए। लॉकर से निकाले गए सोने की कीमत करीब 2 करोड़ 65 लाख 68 हजार रुपए बताई जाती है। इस तरह से बैंक के अधिकारी व कर्मी ने करीब 3 करोड़ 20 लाख से अधिक की जालसाजी कर सरकार व ग्राहकों को चपत लगाने का काम किया।

बच्चे की फीस भरने के दौरान हुआ खुलासा
शिकायतकर्ता ने बताया कि उसने एसबीआई बैंक ब्रांच शेखपुरा में खाता खुलवाया था। प्यारा सिंह के साथ ही तारा सिंह ने खाता खुलवाया है। उन्होंने अपने बच्चे की कालेज फीस के लिए बैंक में राशि जमा करवाई थी। शिकायतकर्ता को कॉलेज से फीस भरने का पत्र आया तो कॉलेज की फीस भरने के लिए जब बैंक गए तो बैंक अधिकारियों ने बताया कि फरवरी माह में बैंक से 13.32 रुपए ग्राहक ने निकाले हैं इसलिए अब इस रकम से पूरी फीस नहीं भरी जा सकती है। शिकायकर्ता ने कहा कि उसने बैंक से कोई पैसा नहीं निकाला था। जांच करने पर पता चला कि बैंक में तैनात हरविंदर सिंह कैशियर और बैंक मैनेजर ने मिलीभगत से पैसा ट्रांसफर किया है। इस दौरान नकली अंगूठे व हस्ताक्षर किए गए। उन्हें अपने बेटे के एडमिशन के लिए निजी तौर पर ब्याज सहित राशि का भुगतान करना पड़ा।

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