कोई जमीन पर बैठा तो कोई मलबे पर…तस्वीरें बयां कर रही दर्द, टेस्ट रिपोर्ट के लिए घंटों इंतजार

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19 अगस्त —-

पीजीआई चंडीगढ़ में मरीजों का बोझ है। रोजाना ओपीडी में 10 हजार से ज्यादा मरीज पहुंचते हैं। ऐसे में मरीजों और उनके तीमारदारों को खासी परेशानियों से गुजरना पड़ता है। पिछले तीन दिन तक छुट्टियां होने के कारण पीजीआई में सोमवार को ओपीडी में 10850 मरीज इलाज करवाने के लिए पहुंचे। इनके अलावा इमरजेंसी में 236 मरीज पहुंचे। इन मरीजों को टेस्ट के लिए लिखा जाता है। सोमवार को रिसर्च ब्लॉक में टेस्टों के सैंपल और फीस काउंटर पर मरीजों, उनके तीमारदारों को दो घंटे तक कतार में खड़े रहना पड़ा। कुछ मरीज जमीन पर बैठे दिखाई दिए तो कुछ ब्लॉक के बाहर पड़े मलबे के ऊपर बैठकर अपनी बारी का इंतजार करते रहे। कतार में लगे लोगों ने बताया कि उन्होंने कर्मचारियों से पूछा कि इतना समय क्यों लग रहा है, तो कर्मचारियों ने उन्हें कहा कि सर्वर डाउन है और कुछ ने कहा कि कर्मचारियों की कमी है। इसके अलावा ओटी में मरीजों के भी करीब 150 से ज्यादा सैंपल आए।जीरकपुर से आए तेजिंदर पाल सिंह ने कहा कि वह दो घंटे से लाइन में खड़े हैं, लेकिन अभी तक उनका नंबर नहीं आया। जब कर्मचारियों को पूछा तो वह बोले कि सर्वर डाउन है। इसलिए एक मरीज पर करीब 15 मिनट लग रहे हैं। विक्रम सिंह ने कहा कि कमरा नंबर-117 में फीस काउंटर पर केवल दो कर्मचारी हैं। एक कर्मचारी लंच करने चला गया तो पीछे एक ही काम कर रहा है। यहां कर्मचारियों की संख्या के साथ काउंटर भी बढ़ने चाहिए, जिससे मरीजों को लंबी कतार में इंतजार न करना पड़े। पठानकोट से आए रामलाल ने बताया कि यहां महिलाओं की अलग लाइन ही नहीं बनाई। पुरुषों के साथ ही उन्हें खड़ा किया जा रहा है। दो घंटे से कतार में खड़ी महिलाएं जमीन पर बैठ गईं। ऑनलाइन पेमेंट करने में भी मरीजों को समस्या आ रही है।

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