माहिरों की मिली-जुली राय यही, कुल मिलाकर कंपनी और आइपीओ के साइज से होंगे निवेशक आकर्षित
लुधियाना, 15 अक्टूबर। कोरियाई कार मैन्युफैक्चर्रर हुंडई मोटर इंडिया का आइपीओ मंगलवार 15 अक्टूबर से ओपन हो गया। यह अब तक का देश का सबसे बड़ा आइपीओ है। इससे पहले सबसे बड़े आइपीओ का रिकार्ड एलआईसी के नाम था, जो 20,557 करोड़ का इश्यू लेकर आई थी। हुंडई का इश्यू साइज 27,856 करोड़ है।
यहां गौरतलब है कि 12 ब्रोकरेज ने इस आइपीओ को सब्सक्राइब रेटिंग दी है। हुंडई के आइपीओ में निवेशक 17 अक्टूबर तक बिडिंग कर सकेंगे। जबकि 22 अक्टूबर को बॉम्बे स्टॉक एक्सचेंज और नेशनल स्टॉक एक्सचेंज पर कंपनी के शेयर लिस्ट होंगे। इस इश्यू के जरिए कंपनी 27,870.16 करोड़ रुपए जुटाना चाहती है। इसके लिए कंपनी के मौजूदा निवेशक ऑफर फॉर सेल के जरिए पूरे 27,870.16 करोड़ के 142,194,700 शेयर बेच रहे हैं।
कंपनी ने इस इश्यू का प्राइस बैंड 1865-1960 तय किया है। रिटेल निवेशक मिनिमम एक लॉट यानि 7 शेयर्स के लिए बिडिंग कर सकते हैं। यदि आप आइपीओ के अपर प्राइज बैंड ₹1960 के हिसाब से 1 लॉट के लिए अप्लाइ करते हैं, तो इसके लिए 13,720 इन्वेस्ट करने होंगे। वहीं, मैक्सिमम 13 लॉट यानि 98 शेयर्स के लिए रिटेल निवेशक अप्लाइ कर सकते हैं। इसके लिए निवेशकों को अपर प्राइज बैंड के हिसाब से 192,080 इन्वेस्ट करने होंगे।
जानकारों व मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक हुंडई मोटर इंडिया शेयर मार्केट में लिस्ट होने वाली चौथी सबसे बड़ी कंपनी होगी। ये मारुति-सुजुकी, टाटा मोटर्स, महिंद्रा एंड महिंद्रा के बाद चौथी बड़ी ऑटोमोबाइल कंपनी होगी। हुंडई मोटर इंडिया मारुति के बाद देश की दूसरी सबसे बड़ी कार कंपनी है।
माहिरों की प्रतिक्रियाएं :
–लुधियाना स्टॉक एंड कैपिटल लिमिटेड के डायरेक्टर चैतन्य प्रकाश की राय में जाहिर है कि जितना बड़ा इश्यू होगा, उसके इन्वेस्टर भी उतने ही ज्यादा होंगे। जहां तक हुंडई के आइपीओ का सवाल है तो यहां भी इन्वेस्टर की सोच के मुताबिक 10-15 फीसदी निवेशक ही जल्दी सेल करते हैं। बाकी निवेशक वेटिंग में रहते हैं। वैसे अब निवेशक चौकन्ने हैं और दूसरी तरफ शेयर मार्केट भी थोड़ी डिप्रेस है। बेशक निवेशकों के बड़े आइपीओ को लेकर पिछले अनुभव अच्छे नहीं है, इसका भी असर देखने को मिलेगा। शेयर थोड़ा ऊपर-नीचे हो सकता है। ऐसी भी आशंका है कि मार्केट डाउन भी रह सकता है।
–एलएससी सिक्योरिटीज लिमिटेड के चेयरमैन अश्वनी गुप्ता तो हुंडई के आइपीओ को लेकर भरोसे से कहते हैं कि सारी अलॉटमेंट मिल जानी हैं। यह आइपीओ लॉन्ग-टर्म के लिए सही रहेगा। फौरी-तौर पर निवेशकों को फायदा नहीं होगा, लॉस का खतरा भी रहेगा। वैसे तो इश्यू साइज बड़ा है तो जाहिर है कि शेयर भी काफी आएंगे। उनके मुताबिक इस आइपीओ का नकारात्मक पहलू यह है कि मैनेजमेंट शेयर बेच रही है। लिहाजा पैसा प्रमोटर को चला जाएगा। जब कंपनी में पैसा आएगा और बढ़त हासिल करेगी तभी निवेशकों को लाभ मिल सकेगा। इतना जरुर है कि कंपनी का नाम बड़ा है तो निवेशकों को आइपीओ आकर्षित तो करेगा।