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लुधियाना में कई साइकिल इंडस्ट्रियों पर जीएसटी विभाग की रेड, अंडर बिलिंग व्यापार करने की चर्चा

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लुधियाना 7 अक्टूबर। लुधियाना में मंगलवार को जीएसटी विभाग की और से शहर की कई साइकिल इंडस्ट्रियों पर दबिश दी। इस दौरान उक्त इंडस्ट्री मालिकों से विभाग के अधिकारियों द्वारा पूछताछ की गई। जबकि उनसे कई दस्तावेज भी लिए गए। लोगों में चर्चा है कि उक्त इंडस्ट्री मालिकों द्वारा अंडर बिलिंग व्यापार किया जा रहा था। हालाकि अभी इसकी पुष्टि नहीं हो सकी है। बताया जा रहा है कि जीएसटी विभाग ने 3 से 4 साइकिल फर्मों पर यह कार्रवाई की है। यह फर्में ढंडारी कलां, गिल रोड, मिल्लरगंज व इंडस्ट्रियल एरिया-सी में स्थित हैं। लोगों में चर्चा है कि इन फर्मों की बड़ी फैक्ट्रियां इंडस्ट्रियल एरिया-सी में स्थित है। जानकारी के अनुसार यह चारों फर्में साइकिलिंग मैन्युफैक्चरर है। हालाकि इस रेड ने पूरी साइकिल इंडस्ट्री में हलचल पैदा कर दी है। लोगों में चर्चा है कि यह वे साइकिल इंडस्ट्रियां हैं, जिनका मार्केट में ज्यादा नाम भी नहीं सुना। लेकिन फिर भी इन इंडस्ट्रियां की टर्नओवर करोड़ों रुपए है। जिसके चलते इस बात को लेकर पूरी इंडस्ट्री हैरान है। इस संबंधी विभाग के अधिकारियों के साथ बातचीत की गई तो उन्होंने कहा कि अभी जांच की जा रही है। अभी मामले संबंधी कुछ नहीं कहा जा सकता।

टर्नओवर ज्यादा किताबों में दिखाई कम
इन चारों फर्मों के बाजारी कंपीटिटरों में चर्चा है कि इन फर्मों की टर्नओवर तो 100 करोड़ रुपए के करीब बताई जा रही है। लेकिन बिलिंग 20 से 30 करोड़ रुपए की जा रही है। यानि कि टर्नओवर ज्यादा है और बिलिंग कम करके टैक्स चोरी किया जा रहा है। लेकिन अब यह तो जीएसटी विभाग की जांच पूरी होने के बाद ही असली सच पता चल सकेगा। हालाकि लोगों में यह भी चर्चा है कि आपसी सहमति के साथ मामले को सुलझाने का प्रयास किया जा रहा है।

पूरे देश में फैला हुआ है नेटवर्क
वहीं लोगों में चर्चा है कि जिन साइकिल इंडस्ट्रियों पर जीएसटी विभाग ने रेड की है, वह अपना नेटवर्क पूरे देश में फैला चुके हैं। देशभर में वह अपने साइकिल सप्लाई कर रहे हैं। हालाकि यह भी चर्चा है कि इन फर्मों द्वारा मनमर्जी से साइकिल तैयार करके मनमर्जी रेट से बेचा जा रहा है। जिसके चलते लुधियाना की बाकी साइकिल इंडस्ट्री प्रभावित हो रही है।

विदेश से अंडर बिलिंग मंगवाया जा रहा माल
लोगों में चर्चा है कि उक्त फर्में अकेले मैन्युफैक्चरिंग ही नहीं बल्कि इंपोर्ट व एक्सपोर्ट का काम भी कर रही है। उनके विदेशों में भी तार जुड़े हुए हैं। उनकी और से अंडर बिलिंग विदेश से माल मंगवाया जा रहा है। जिसके बाद उसे इंडिया में तैयार किया जाता है। सरकार की और से कई साइकिलों पर कम टैक्स व पूरे टैक्स पर छूट दे रखी है। यह भी चर्चा है कि उक्त फर्मों द्वारा साइकिल तो हर किस्म का तैयार किया जाता है। लेकिन बिलिंग ज्यादातर टैक्स रहित साइकिलों की कर दी जाती है। जिससे टैक्स बचाया जा रहा है। उक्त फर्मों द्वारा अपनी प्रोडक्शन कम दिखाकर अंडर बिलिंग माल बेचा जा रहा है।

साइकिल इंडस्ट्री बिजनेस ग्रो का पता कर रही फॉर्मूला
वहीं लुधियाना की पूरी साइकिल इंडस्ट्री हैरान है कि आज के कंपीटिशन के दौर में जहां सर्वाइव करना मुश्किल है। उस दौरान में इन ‌फर्मों द्वारा धड़ल्ले से काम किया जा रहा है। जबकि उन्हें कंपीटिशन का भी कोई फर्क नहीं है। साइकिल इंडस्ट्री में चर्चा है कि उक्त फर्म मालिकों के पास आखिर कौन सा फॉर्मूला है, जिससे बिजनेस इतनी तेजी से ग्रो हो सकता है। बाकी इंडस्ट्री मालिक इस फॉर्मूले को ढूंढने में लग चुके हैं।

नामी कंपनियों के मालिक भी हैरान
चर्चा है कि उक्त फर्मों के 2 से 3 यूनिट लगे हुए हैं। हालाकि इन फर्मों की टर्नओवर व इन्फ्रास्ट्रक्चर देखकर देश की नामी साइकिल कंपनियों के मालिक भी हैरान है। इंडस्ट्री में चर्चा है कि जिन फर्मों पर रेड हुई, आखिर वह कैसे अच्छे मार्जन पर अपने साइकिल बेच रहे हैं। जबकि उनका कहना है कि मार्केट में टर्नओवर के मुकाबले इन इंडस्ट्रियों का नाम पहली बार सुनने को मिला है। साइकिल इंडस्ट्री अब इसकी जांच कर रही है।

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