सुप्रीम कोर्ट ने अलीगढ़ मुस्लिम युनिवर्सिटी का बहाल किया अल्संख्यक दर्जा
जनहितैषी, अलीगढ़/लखनउ, 8 नवम्बर । अलीगढ़ मुस्लिम विश्वविद्यालय (एएमयू) को अल्पसंख्यक संस्थान के रूप में अपना दर्जा बरकरार रखने की अनुमति मिल गई। अलीगढ़ मुस्लिम विश्वविद्यालय में आज शुक्रवार को ऐतिहासिक दिन रहा सुप्रीम कोर्ट की सात जजों की संविधान पीठ ने शुक्रवार को 4:3 बहुमत से 1967 के अपने उस मामले को पलट दिया जिसमें कहा गया था कि अलीगढ़ मुस्लिम यूनिवर्सिटी (एएमयू) अल्पसंख्यक संस्थान नहीं है।
हालांकि, एएमयू अपना अल्पसंख्यक दर्जा बरकरार रखेगा, लंबे समय से अलीगढ़ मुस्लिम विश्वविद्यालय अल्पसंख्यक दर्जे की लड़ाई न्यायालय में लड़ रहा था 68 साल बीत जाने के बाद भी इस मामले को लेकर हर रोज तमाम तरह की चर्चाएं सामने आई थी लेकिन अब सुप्रीम कोर्ट के इस आदेश के बाद सियासी गलियारों में हलचल पर रोक लग चुकी है जहां पहले राजनीतिक गलियारों में भी अलीगढ़ मुस्लिम विश्वविद्यालय के अल्पसंख्यक दर्जे को लेकर चर्चा चलती थी लेकिन अब इन सभी चर्चाओं पर भी विराम लग चुका है
पूरे मामले पर अलीगढ़ मुस्लिम विश्वविद्यालय के छात्रों में जश्न का माहौल है छात्रों के द्वारा लगातार जश्न मनाया जा रहा है और पटाखे चलाने के बाद मिठाइयां बांटकर अलीगढ़ मुस्लिम विश्वविद्यालय के अल्पसंख्यक दर्जे को बहाल होने की खुशी मनाई जा रही है वहीं दूसरी ओर छात्र नेताओं का कहना है जिस तरह से अलीगढ़ मुस्लिम विश्वविद्यालय पर सियासत चला करती थी लेकिन अब इस रियासत पर विराम लग चुका है
मौजूदा समय में जिस तरह से यह मामला लंबे समय से विचाराधीन था मामले को लेकर सभी को अल्पसंख्यक दर्जा बहाल होने की उम्मीद थी लेकिन आज यह शुक्रवार का दिन अलीगढ़ मुस्लिम विश्वविद्यालय के इतिहास के लिए स्वर्ण अक्षरों में लिखा जाएगा। पूरे मामले को लेकर अलीगढ़ मुस्लिम विश्वविद्यालय के प्रॉक्टर वसीम अली के द्वारा जानकारी देते हुए बताया गया अलीगढ़ मुस्लिम विश्वविद्यालय को लेकर जो न्यायिक फैसला आया है उसे पर सभी लोग सहमत हैं फैसले का वह स्वागत करते हैं।