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किसानों का शंभू बॉर्डर से 21 जनवरी को दिल्ली कूच का ऐलान

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रवाना होगा 101 किसानों का जत्था, पंधेर ने किया दावा, मोदी के प्रधानमंत्री रहते ही बनवाएंगे एमएसपी कानून

पटियाला 16 जनवरी। यहां हरियाणा-पंजाब के शंभू बॉर्डर पर आंदोलित किसानों ने 21 जनवरी को दिल्ली कूच का ऐलान कर दिया है। किसान नेता सरवण पंधेर ने कहा कि इसमें 101 किसान शामिल होंगे।

उन्होंने कहा कि केंद्र सरकार अभी तक वार्ता का मन नहीं बना रही है, इसलिए आंदोलन को और तेज करेंगे। उन्होंने पीएम नरेंद्र मोदी को चेतावनी भी दी कि उनके प्रधानमंत्री रहते ही देश में एमएसपी पर फसल खरीद की गारंटी का कानून आएगा। किसानों की सभी मांगें देशहित में हैं और उन्हें लागू कराया जाएगा। यहां गौरतलब है कि किसान इसके पहले भी दिसंबर महीने में तीन बार दिल्ली कूच की कोशिश कर चुके हैं, लेकिन तीनों बार हरियाणा पुलिस ने उन्हें बैरिकेड पर रोक लिया।

काबिलेजिक्र है कि एमएसपी की गारंटी कानून को लेकर किसान 11 महीने से शंभू और खनौरी बॉर्डर पर आंदोलन कर रहे हैं। खनौरी बॉर्डर पर किसान नेता जगजीत डल्लेवाल 52 दिन से आमरण अनशन पर बैठे हैं। उनकी हालत नाजुक बनी हुई है। उनके समर्थन में 111 किसान लगातार दूसरे दिन अनशन पर बैठे हैं। इसी दौरान किसान नेता सरवण पंधेर ने 5 जनवरी, 2022 को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के फिरोजपुर दौरे के दौरान हुई सुरक्षा चूक के मुद्दे को उठाया। पंधेर ने कहा कि 2022 की घटना में अब पंजाब सरकार ने केंद्र के दबाव में आकर 25 के करीब किसानों के खिलाफ समन भेज दिए हैं। इसमें अब हत्या की कोशिश का मामला भी जोड़ दिया गया है। हम इसका विरोध करते हैं।

उन्होंने कहा कि सभी जानते हैं कि 5 जनवरी, 2022 को पीएम बाइ एयर आ रहे थे, लेकिन अचानक उनका रूट बदल दिया गया, वह सड़क मार्ग से आए। पीएम का काफिला 15-20 मिनट के लिए रुका था। एक भी किसान ने पीएम की तरफ फूल तक नहीं मारा था। तत्कालीन सीएम चरणजीत चन्नी की अगुवाई वाली कांग्रेस सरकार ने साफ किया था कि किसानों का मकसद उन्हें नुकसान पहुंचाना नहीं था। इसके बावजूद अब तीन साल के बाद किसानों पर दोबारा से कार्रवाई निंदनीय है।

उधर, डॉक्टरों के मुताबिक अनशन पर बैठे डल्लेवाल की तबियत बिगड़ती जा रही है। डल्लेवाल ने साफ कर दिया कि जब तक केंद्र सरकार उनकी बात नहीं सुनती, तब तक वे इलाज नहीं कराएंगे। हालांकि सरकार ने मोर्चे के पास ही एक अस्थायी अस्पताल बना दिया है। डल्लेवाल के आमरण अनशन को लेकर बुधवार को सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई हुई थी। इस दौरान कोर्ट ने पंजाब सरकार से डल्लेवाल के सेहत से जुड़ी सभी रिपोर्ट तलब की।

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