सेंसेक्स के शुरुआती शेयरों में शामिल टाटा मोटर्स अब इस सबसे पुराने स्टॉक इंडेक्स से बाहर होने के करीब है। कंपनी 1986 में सेंसेक्स की शुरुआत से ही इसका हिस्सा रही है। कमर्शियल और पैसेंजर व्हीकल व्यवसाय के डिमर्जर के बाद कंपनी का मार्केट कैप सेंसेक्स में बने रहने की न्यूनतम आवश्यकता को पूरा नहीं कर पा रहा।
डिमर्जर के बाद मार्केट कैप में गिरावट
सेंसेक्स में बने रहने के लिए करीब 2 लाख करोड़ रुपए का मार्केट कैप जरूरी है। अक्टूबर डिमर्जर के बाद टाटा मोटर्स पैसेंजर व्हीकल का मार्केट कैप 1.37 लाख करोड़ रुपए और कमर्शियल व्हीकल कंपनी का मार्केट कैप 1.19 लाख करोड़ रुपए रह गया, जिससे कुल मूल्य दो हिस्सों में बंट गया।
इंडिगो और ग्रासिम बना सकते हैं जगह
दिसंबर रीबैलेंसिंग में टाटा मोटर्स की जगह इंटरग्लोब एविएशन (इंडिगो) और ग्रासिम इंडस्ट्रीज शामिल हो सकते हैं। BSE 19 दिसंबर को सेंसेक्स की नई लिस्ट जारी करेगा। फिलहाल सेंसेक्स में टाटा, रिलायंस, HUL और ITC लगातार बने हुए हैं, जबकि टाटा मोटर्स बाहर हो सकती है।
निवेशकों पर संभावित असर
विश्लेषकों के अनुसार, सेंसेक्स से बाहर होने पर टाटा मोटर्स के शेयरों में लगभग 2,232 करोड़ रुपए की बिकवाली हो सकती है। वहीं इंडिगो के शामिल होने पर उसमें 3,157 करोड़ रुपए का अतिरिक्त निवेश आने का अनुमान है। ग्रासिम के शामिल होने पर 2,526 करोड़ रुपए का निवेश बढ़ सकता है।
टाटा ट्रस्ट्स में तनाव बढ़ा
टाटा ग्रुप में चेयरमैन एन. चंद्रशेखरन और टाटा ट्रस्ट्स के चेयरमैन आर. वेंकटरामनन के बीच वोटिंग अधिकारों को लेकर मतभेद की चर्चाएं हैं। साथ ही नेविल टाटा को सर रतन टाटा ट्रस्ट में शामिल करने पर भी सवाल उठ रहे हैं।
टाटा मोटर्स PV शेयर में गिरावट
टाटा मोटर्स पैसेंजर व्हीकल के शेयर में 17 नवंबर को 4.74% की गिरावट दर्ज की गई। पांच दिनों में शेयर 8% से अधिक टूटा है। जुलाई–सितंबर तिमाही में JLR पर साइबर अटैक के कारण कंपनी को 6,368 करोड़ रुपए का नेट लॉस हुआ, जिसने गिरावट को और बढ़ाया।





