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बड़ा हादसा: लुधियाना में जगराते के पंडाल का पिल्लर गिरने से एक महिला की मौत, सात जख्मी

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बड़ा सवाल : शहर में सज गए दशहरे के मेलों में लगे
झूलों और पंडालों की चैकिंग करवा रहा प्रशासन ?

लुधियाना 6 अक्टूबर। लुधियाना के हंबड़ा रोड स्थित गांव बाहरनहाड़ा में बांके बिहारी क्लब की और से करवाए गए माता के जागरण में अचानक तेज आंधी आने से पंडाल पर लगे पिल्लर गिर गए। जिस कारण पिल्लर वहां मौजूद श्रद्धालुओं पर जा गिरे। जिससे एक महिला श्रद्धालु, बच्चों समेत सात लोग जख्मी हो गए। जिन्हें तुरंत अस्पताल पहुंचाया गया। लेकिन वहां पहुंचने से पहले ही एक महिला की मौत हो गई। महिला की पहचान द्वारका ऐनक्लेव में रहने वाली सुनीता के रुप में हुई है। हालाकि बाकी जख्मियों की हालत खतरे से बाहर बताई जा रही है। मामले की सूचना मिलने पर थाना पीएयू की पुलिस मौके पर पहुंची। पुलिस ने लाश कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम के लिए भेज दी है। इस हादसे के बाद जागरण के प्रबंधकों और महिला गायक द्वारा एक दूसरे को हादसे का कारण बताकर गंभीर आरोप लगाए जा रहे हैं। लेकिन पुलिस द्वारा दोनों पक्षों के बयान लिए गए हैं। पुलिस मामले की जांच कर रही है। जानकारी के अनुसार गांव बाहरनहाड़ा में बांके बिहारी क्लब की और से शनिवार को जागरण का आयोजन किया गया था। जहां पर भजन गायिका पल्लवी रावत को बुलाया गया था। देर रात करीब तीन बजे अचानक जागरण चलने के दौरान तेजी आंधी आई। आंधी के कारण पंडाल के आसपास लगे पिल्लर सीधा जाकर आगे बढ़े श्रद्धालुओं पर जा गिरे। वहीं, पुलिस का कहना है कि महिला गायक द्वारा अंधेरी आने पर श्रद्धालुओं को जबरन वहां रोका गया, जिसके बाद हादसा हुआ है। हालाकि इस मामले संबंधी जांच के लिए पुलिस द्वारा पल्लवी व उसकी टीम को सुबह 11 बजे थाने बुलाकर शाम तक बैठाकर पूछताछ की गई।

भजन गायिका ने ही कराए थे अरेंजमेंट
वहीं इस मामले में बांके बिहारी क्लब पर लापरवाही के आरोप लगे हैं। लेकिन क्लब के प्रधान राधे श्याम मिश्रा का कहना है कि उन पर लग रहे आरोप गलत हैं। उन्होंने कहा कि भजन गायिका पल्लवी रावत द्वारा ही सारे अरेंजमेंट किए गए थे। जिसके लिए उन्होंने बकायदा एक लाख रुपए के करीब सिर्फ अरेंजमेंट करने के दिए थे। जो पिल्लर गिरे हैं, वह भी पल्लवी द्वारा अरेंज किए गए थे।

भगदड़ रोकने के लिए की अपील, प्रबंधकों के थे सभी इंतजाम
भजन गायिका पल्लवी रावत का कहना है कि अंधेरी आने पर लोग उठकर भागने लगे थे। पंडाल में एक हजार के करीब लोग मौजूद थे। भगदड़ रोकने के लिए उन्होंने कहा था कि डरे नहीं यह मां का आशीर्वाद है। पल्लवी ने कहा कि जागरण प्रबंधकों द्वारा पिल्लर समेत सभी अरेंजमेंट किए गए थे। उनके साथ सिर्फ भजन गायन करने और उनके म्यूजिशियन की डील हुई थी।

पुलिस को नहीं दी जाती समारोह की जानकारी
बता दें कि लुधियाना में पहले भी कई बार झूला टूटने समेत कई धार्मिक व सामाजिक समारोहों में ऐसे हादसे हो चुके हैं। लेकिन प्रशासन द्वारा इस पर रोक नहीं लगाई जा पा रही। हालाकि किसी भी जगह लोगों के इकट्‌ठ करने पर इसकी सूचना संबंधित थाने को देनी होती है। जिसके बाद वहां फोर्स लगाई जाती है। पुलिस द्वारा सभी चीजों का ध्यान रखा जाता है, ताकि जानी नुकसान न हो। लेकिन शनिवार को हुए कार्यक्रम समेत कई समारोह में पुलिस को जानकारी ही नहीं दी जाती।

दशहरे मेलों व झूलों की कब होगी चैकिंग
बता दें कि फेस्टिवल सीजन आ चुका है। जगह जगह दशहरे मेले सज चुके है और झूलें लगे हुए हैं। चर्चा है कि मेलों में लगे कई झूले कई जगह से टूटे हुए हैं। हालाकि इस मामले में अभी तक प्रशासन द्वारा चैकिंग नहीं की गई है। जबकि हर बार हादसा होने के बाद जरुर प्रशासन की जाग खुल जाती है। लेकिन अब देखना होगा कि शनिवार को इस हादसे के बाद क्या प्रशासन द्वारा कोई गाइडलाइन जारी की जाएगी या नहीं।

श्रद्धालुओं से दूरी पर रखी जाती है स्टेज
एक्सपर्ट के मुताबिक कोई भी धार्मिक, सामाजिक व राजनीतिक प्रोग्राम होने के दौरान स्टेज को श्रद्धालुओं के बैठने वाले स्थान से दूर रखा जाता है। ताकि अगर स्टेज गिरे या स्टेज पर कोई नुकसान हो तो सामने बैठे लोगों का बचाव हो सके। लेकिन लोगों द्वारा नियम तोड़कर स्टेज के पास ही लोगों को बैठा दिया जाता है। शनिवार को भी हादसे का कारण यही रहा। अगर लोगों को दूरी पर बैठाया होता तो शायद इतना नुकसान न होता।

मामले की जांच जारी
वहीं थाना पीएयू के इंस्पेक्टर राजिंद्र सिंह का कहना है कि हादसे में एक महिला की मौत हुई है। मामले की जांच की जा रही है। शुरुआती जांच में पता चला है कि अंधेरी आने पर उठकर जा रहे लोगों को महिला गायिका द्वारा बैठाया गया था। उक्त पिल्लर व स्टेज लगाने वालों की जानकारी भी हासिल की जा रही है। उसी के मुताबिक कार्रवाई की जाएगी।

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