चंडीगढ़, 25 सितंबर
केरल सरकार के एक उच्च-स्तरीय प्रतिनिधिमंडल ने कल शाम चंडीगढ़ स्थित पंजाब भवन में पंजाब के बागवानी मंत्री, श्री मोहिंदर भगत से मुलाकात की। प्रतिनिधिमंडल का नेतृत्व केरल के कृषि मंत्री, श्री पी. प्रसाद ने किया और इसमें मिशन निदेशक (बागवानी) श्री साजी जॉन और राज्य कृषि मूल्य बोर्ड के अध्यक्ष, डॉ. पी. राजशेखरन शामिल थे। प्रतिनिधिमंडल ने पंजाब के प्रगतिशील बागवानी मॉडल की सराहना की।
बातचीत के दौरान, कैबिनेट मंत्री श्री मोहिंदर भगत ने प्रतिनिधिमंडल को बताया कि मुख्यमंत्री श्री भगवंत सिंह मान के नेतृत्व में, राज्य फसल विविधीकरण को बढ़ावा देने और किसानों की आय बढ़ाने के लिए तेज़ी से काम कर रहा है। उन्होंने बताया कि सरकार किसानों को व्यापक तकनीकी ज्ञान और सब्सिडी प्रदान कर रही है। उन्होंने आगे बताया कि पंजाब में लगभग 5 लाख हेक्टेयर क्षेत्र में बागवानी की जा रही है, जो किसानों की आय में निरंतर वृद्धि में महत्वपूर्ण योगदान दे रही है।
भविष्य की योजनाओं पर प्रकाश डालते हुए, श्री भगत ने कहा कि पंजाब सरकार किसानों को बेहतर बाज़ार मूल्य सुनिश्चित करने के लिए फल और सब्ज़ी प्रसंस्करण इकाइयों को मज़बूत कर रही है। उन्होंने आगे कहा कि नए कोल्ड स्टोरेज, मूल्य संवर्धन केंद्र और कृषि प्रसंस्करण क्लस्टर स्थापित किए जा रहे हैं।
केरल के कृषि मंत्री, श्री पी. प्रसाद ने कहा कि किसानों के लिए पंजाब की प्रगतिशील पहल सराहनीय है और उन्होंने पंजाब के बागवानी मॉडल को अन्य राज्यों के लिए एक रोडमैप बताया। अपने राज्य के बागवानी क्षेत्र पर प्रकाश डालते हुए, श्री प्रसाद ने कहा कि केरल में लगभग 22 लाख हेक्टेयर भूमि पर बागवानी की जाती है, जिसमें केला, नारियल, मसाले और सब्ज़ियाँ प्रमुख फ़सलें हैं। उन्होंने मंत्री भगत को केरल के अंतर्राष्ट्रीय कृषि मेले “वैगा” में भाग लेने का निमंत्रण भी दिया।
सद्भावना और सांस्कृतिक आदान-प्रदान के प्रतीक के रूप में, मंत्री मोहिंदर भगत ने केरल के कृषि मंत्री को पंजाब की पारंपरिक फुलकारी भेंट की, जबकि श्री प्रसाद ने श्री भगत को स्मृति चिन्ह के रूप में केरल की एक पारंपरिक सर्प नौका और धोती भेंट की। दोनों पक्षों ने बागवानी के क्षेत्र में अंतर-राज्यीय सहयोग के लिए अपनी प्रतिबद्धता व्यक्त की।