गुरुग्राम, 21 सितम्बर।
छह साल पहले जेनपैक्ट चौक के अंडरपास पर लगी लोहे की पाइप से कैंटर में पीछे बैठे हुए युवक का सिर टकराने से हुई मौत पर माता-पिता को 14.70 लाख रुपये का मुआवजा मिलेगा। यह आदेश मोटर दुर्घटना दावा न्यायाधिकरण सुनील कुमार ने दिया है। मृतक मेनुल अली के माता-पिता ने न्यायाधिरण में याचिका दायर की थी।
मूल रूप से असम के जिला सोनितपुर के अमोला पाम गांव निवासी कुतुब अली और उनकी पत्नी चुफिया खातून ने न्यायाधिरण में दायर की याचिका में बताया कि 29 जुलाई 2019 को उनका बेटा मेनुल अली अपने एक साथी गुलजार के साथ शाम करीब साढ़े पांच बजे तिगरा गांव की तरफ कबाड़ से भरे कैंटर में पीछे बैठकर जा रहा था। जब वह जेनपैक्ट चौक के पास अंडरपास के पास पहुंचा तो अंडरपास में अंदर वाहन जाने के लिए लगी लोहे की पाइप से उसका सिर टकरा गया था। कैंटर में मौजूद लोगों ने उसे अस्पताल में भर्ती कराया वहां पर उसे चिकित्सकों ने मृत घोषित कर दिया था। पिता की शिकायत पर सेक्टर-53 थाना पुलिस ने मामला दर्ज किया था। आरोप था कि चालक कैंटर को काफी गलत तरीके से चला रहा था।
न्यायाधिकरण ने दोनों पक्षों को सुनने के बाद कैंटर चालक फरीद सरदार को आदेश दिया है कि वह मृतक के माता-पिता को 14.70 लाख रुपये का मुआवजा दे। यह मुआवजा राशि साढ़े सात प्रतिशत की दर से याचिका दायर करने की तिथि से याचिकाकतार्ओं को दी जाएगी।
