हाउसिंग सोसायटियों को 21 दिनों के भीतर सरकारी बकाया चुकाने का निर्देश: आरसीएस निर्धारित समय के भीतर वैधानिक बकाया का भुगतान न करने पर सहकारी आवास समितियों को अधिक्रमण का सामना करना पड़ेगा

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चंडीगढ़ 15 सितम्बर:

यह देखते हुए कि कई सहकारी आवास एवं गृह निर्माण सोसायटियों ने अपने सदस्यों से राशि वसूलने के बावजूद, संबंधित शहरी विकास प्राधिकरणों को वैधानिक बकाया राशि का भुगतान नहीं किया है, रजिस्ट्रार सहकारी समितियां गिरीश दयालन ने मुख्यमंत्री श्री भगवंत सिंह मान के निर्देशों पर इन सभी सोसायटियों को नोटिस भेजने के आदेश दिए हैं। इन बकाया राशियों में बाह्य विकास शुल्क (ईडीसी), भूमि उपयोग परिवर्तन (सीएलयू) शुल्क और अन्य वैधानिक भुगतान शामिल हैं, लेकिन इन्हीं तक सीमित नहीं हैं।

इन बकाया राशि का भुगतान न करना प्रबंध समितियों और पदाधिकारियों की ओर से गंभीर विश्वासघात है। इस तरह की चूक न केवल समितियों की कानूनी स्थिति को खतरे में डालती है, बल्कि उनके सदस्यों के हितों को भी खतरे में डालती है।

सदस्यों के अधिकारों की रक्षा और वैधानिक आवश्यकताओं के अनुपालन को सुनिश्चित करने के लिए, सभी सहकारी आवास एवं गृह निर्माण समितियों को निर्देश दिया जाता है कि संबंधित नगरीय विकास प्राधिकरण को देय सभी बकाया राशि इस सूचना के 21 दिनों के भीतर जमा कर दी जाए। जहाँ व्यक्तिगत सदस्यों ने अपना हिस्सा जमा नहीं किया है, वहाँ प्रबंध समिति को 30 दिनों के भीतर राशि की वसूली और जमा सुनिश्चित करनी होगी। प्रत्येक समिति को संबंधित प्राधिकरण से प्राप्त नो-ड्यूज़ प्रमाणपत्र 30 दिनों के भीतर जिला शहरी विकास प्राधिकरण कार्यालय को प्रस्तुत करना होगा।

उन्होंने आगे कहा कि इन निर्देशों का पालन न करने को सहकारी समिति अधिनियम की धारा 27 के अंतर्गत लगातार चूक या लापरवाही माना जाएगा। अनुपालन न करने पर प्रबंध समिति को हटाने सहित, कठोर कार्रवाई की जाएगी।

श्री दयालन ने कहा कि ये उपाय व्यापक जनहित में सदस्यों के अधिकारों की रक्षा करने तथा सहकारी आवास समितियों के कामकाज में पारदर्शिता और जवाबदेही सुनिश्चित करने के लिए किए जा रहे हैं।