जिला प्रशासन का दावा-हालात काबू में, एनडीआरएफ तैनात, गांववाले घर छोड़कर जा रहे सुरक्षित स्थानों पर
लुधियाना, 5 सितंबर। यहां शहर के आउटर एरिया में सतलुज दरिया में कल से तेज बहाव से बाढ़ का खतरा बढ़ गया था। जिसके चलते यहां ससराली बांध कमजोर होने के बाद उसके किनारे से काफी मिट्टी बह गई।
हालांकि डिप्टी कमिश्नर हिमांशु जैन ने दावा किया कि अभी बाढ़ जैसा खतरा नहीं है, लोग अफवाहों पर ध्यान ना दें। डीसी खुद कल और शुक्रवार को भी मौके पर जायजा लेने पहुंचे। उनके साथ पुलिस कमिश्नर स्वपन्न शर्मा समेत तमाम प्रशासनिक अधिकारी मौजूद थे। डीसी ने कहा कि जिला प्रशासन हालात पर काबू पाने के लिए युद्धस्तर पर काम कर रहा है। सेना, एनडीआरएफ और स्थानीय लोग मिलकर बांध को मजबूत करने में जुटे हैं। ससराली बांध से 700 मीटर दूरी पर ग्रामीणों ने एक और बांध बनाया, ताकि पानी को आबादी वाले इलाकों में आने से रोका जा सके।
दूसरी तरफ, बाढ़ की आशंका से डरे ससराली और आसपास के गांववालों ने परिजनों के साथ सामान और अपने पशु लेकर सुरक्षित स्थान की ओर पलायन शुरु कर दिया था। अगर सतलुज का पानी और बढ़ा तो लुधियाना के करीब डेढ़ दर्जन गांव बाढ़ की चपेट में आ सकते हैं। इनमें राहों, टिब्बा, ताजपुर, नूरवाला से लेकर समराला चौक तक पानी पहुंच सकता है। वहीं साहनेवाल के धनांसू इलाके में भी पानी भरने की आशंका है, जिससे 50 हजार से ज्यादा लोग प्रभावित हो सकते हैं।
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