पंजाब/यूटर्न/4 नवंबर: पंजाब सरकार ने सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई से पहले तीन जिलों के 9 अधिकारियों के खिलाफ एक्शन लिया है। ये अधिकारी पराली जलाने की घटनाओं को रोकने में असफल रहे हैं। इनके खिलाफ एयर क्वालिटी मैनेजमेंट कमीशन एक्ट, 2021 की धारा 14(2) के तहत कार्रवाई की जाएगी। आपको बता दें, पराली जलाने से दिल्ली में प्रदूषण का स्तर काफी बढ़ गया है। पिछली सुनवाई में पंजाब और हरियाणा सरकार को गलत जानकारी देने के लिए फटकार लगाई थी।
इन अधिकारियों के खिलाफ होगी कार्रवाई
जानकारी के अनुसार, मोगा जिले के घरमकोट सब-डिवीजन के किशनपुरा कलां गांव के नोडल अधिकारी के खिलाफ शिकायत दर्ज की गई है। तरनतारन में तीन अधिकारियों के खिलाफ चार्जशीट दायर की गई है। फिरोजपुर में, कृषि विस्तार अधिकारी, ड्रेनेज विभाग के एक जूनियर इंजीनियर और तीन पंचायत सचिवों के खिलाफ कार्रवाई की गई है।
296 एफआईआर दर्ज की जा चुकी
फिरोजपुर की एसएसपी सौभया मिश्रा ने बताया कि नियमों का उल्लंघन करने वालों के खिलाफ ऑपरेशन शुरू किया है। अब तक 296 एफआईआर दर्ज की जा चुकी हैं, जिनमें से 121 मामले पिछले चार दिनों में दर्ज किए गए हैं। डीसी दीप्ति शर्मा ने बताया कि ग्रामीण विकास और सहकारिता विभागों के 102 से ज्यादा अधिकारियों को पराली जलाने की घटनाओं को रोकने में असफल होने के कारण नोटिस जारी किए गए हैं। उन्होंने बताया कि पिछले साल के मुकाबले इस साल सखत उपायों के प्रयासों के कारण 58 प्रतिशत की कमी दर्ज की गई है।
मोगा में 105 मामले दर्ज
मोगा के डीसी विशेष सारंगल ने रविवार को दो एसडीएम, दो एसएचओ और एक बीडीपीओ सहित अन्य अधिकारियों को कारण बताओ नोटिस जारी किए। सारंगल ने बताया कि पंजाब रिमोट सेंसिंग सेंटर, लुधियाना की ओर से पराली जलाने की घटनाओं पर 105 मामले दर्ज किए गए हैं और उल्लंघन करने वाले किसानों पर 1.72 लाख रुपए का जुर्माना लगाया गया है।
क्या हैं सीएक्यूएम एक्ट की धारा 14(2)?
पीएक्यूएमएक्ट की धारा 14(2) के तहत अपराध गैर-जमानती हैं। इन पर न्यायिक मजिस्ट्रेट (फस्ट कैटेगरी) की ओर से सुनवाई की जाती है। अगर आरोप साबित हों और दोषी करार हो जाए तो इसमें 1 करोड़ रुपए तक का जुर्माना लग सकता है। इसके साथ ही पांच साल की सजा, या दोनों भी हो सकते हैं।
————–
पराली जलाने को लेकर एक्शन में आई पंजाब सरकार, 9 अधिकारियों पर केस दर्ज
Kulwant Singh
👇खबर सुनने के लिए प्ले बटन दबाएं