watch-tv

मुद्दे की बात : दिल्ली में पॉल्यूशन पर बढ़ा ‘सियासी-प्रदूषण’

👇खबर सुनने के लिए प्ले बटन दबाएं

Listen to this article

राजधानी में हवा-पानी प्रदूषित और  आप-भाजपा में ‘वाक-युद्ध’ छिड़ा

दिल्ली में रविवार को सुबह लगातार तीसरे दिन यमुना नदी में जहरीले झाग देखने को मिले। दूसरी तरफ देश की राजधानी में वायु-प्रदूषण भी देखने को मिल रहा है। रविवार सुबह दिल्ली के वातारवरण में धुंध की परत छाई नजर आई। अक्षरधाम मंदिर और आसपास के इलाकों में एयर क्वालिटी इंडेक्स 353 और आनंद विहार में 454 दर्ज की गई। जिसे केंद्रीय प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड के अनुसार ‘बहुत खराब’ श्रेणी में रखा गया। माहिरों की राय में इसे लेकर दिल्ली और साथ लगते राज्यों की सरकारों को संजीदगी दिखाने की जरुरत है।

इसी बीच आम आदमी पार्टी ने बयान जारी कर इलजाम लगाया कि भाजपा उत्तर प्रदेश से यमुना में गंदा पानी छोड़ रही है। जिसके कारण दिल्ली में पानी में झाग बन रहे हैं। एक तरफ दिल्ली में आप वॉर लेवल पर प्रदूषण से निपटने में लगी है। दूसरी तरफ भाजपा गंदी राजनीति कर रही है। वहीं, इसके जवाब में ईस्ट दिल्ली से भाजपा सांसद हर्ष मल्होत्रा ने और बड़ा आरोप लगाते पलटवार किया कि दिल्ली की आप सरकार ने एक हजार करोड़ रुपए प्रदूषण के टैक्स के रूप में कलेक्ट किए थे। सीएम आतिशी को बताना चाहिए कि उस फंड का क्या हुआ ? उन्होंने दावा किया कि जब यमुना का पानी दिल्ली में आता है, तब इसका ऑक्सीजन लेवल 9 रहता है। जब दिल्ली से निकलता है, तब ऑक्सीजन लेवल जीरो हो जाता है। दिल्ली में अलग-अलग ड्रेनेज पॉइंट पर मौजूद ड्रेनेज प्लांट काम नहीं कर रहे हैं।

इस ज्वलंत समस्या को लेकर भाजपा ने तीन बड़े आरोप लगाए हैं। जिसके मुताबिक पूर्व की अरविंद केजरीवाल सरकार ने यमुना की सफाई को लेकर सिर्फ झूठ और भ्रम फैलाया। उप-राज्यपाल ने यमुना की सफाई के लिए कदम उठाए तो केजरीवाल सरकार ने उन्हें रोकने के लिए सुप्रीम कोर्ट का दरवाजा खटखटाया। तत्कालीन सीएम अरविंद केजरीवाल ने कहा था कि 2025 तक यमुना नदी पूरी तरह से साफ कर दी जाएगी। जब लोग यमुना नदी के पानी में छठ पूजा का त्यौहार मनाएंगे, तो उन्हें किन बीमारियों का सामना करना पड़ेगा ? यमुना की सफाई के लिए आए सारे पैसे विज्ञापनों पर खर्च कर दिए। यमुना नदी की सफाई हमेशा से आप के लिए एक राजनीतिक मुद्दा रहा है, प्राथमिकता नहीं। जहरीली राजनीति दिल्ली में जहरीली हवा और पानी का कारण है।

इस पर आप नेता रीना गुप्ता ने भाजपा के आरोपों को जवाब देते हुए कहा कि जल प्रदूषण और वायु प्रदूषण के मुद्दे प्रशासनिक सीमाओं को पार कर जाते हैं। हरियाणा में पराली जलाने की घटनाओं में 30 प्रतिशत और उत्तर प्रदेश में 70 प्रतिशत की वृद्धि देखी गई है। पंजाब में पराली जलाने की घटनाओं में 30 प्रतिशत की कमी देखी गई है। दिल्ली के लगभग 300 किलोमीटर के दायरे में एक एयरशेड है। सुप्रीम कोर्ट ने कई बार कहा है कि इस मुद्दे को हल करने के लिए सभी राज्य सरकारों को मिलकर काम करने की जरूरत है। हालांकि, केवल दिल्ली और पंजाब में आप सरकारें ही इससे सक्रिय रूप से निपट रही हैं। यमुना नदी में झाग को लेकर दिल्ली जल बोर्ड ने 18 अक्टूबर को मीटिंग की थी। इसमें छठ पूजा के दौरान झाग ना रहे, इस पर चर्चा की गई। दरअसल, हर साल ओखला के कालिंदी कुंज में बैराज पर छठ पूजा के दौरान नदी में डुबकी लगाने के लिए सैकड़ों भक्त आते हैं।

बैठक में भाग लेने वाले एक अधिकारी ने कहा कि किया कि छठ पूजा से पहले और उसके दौरान ओखला बैराज के डाउनस्ट्रीम में पोर्टेबल एंटी-सर्फेक्टेंट स्प्रिंकलर लगाया जाएगा। वहीं कालिंदी कुंज में नदी और नालों के तल को साफ करने का काम किया जाएगा।

इस सबके बीच एक्सपर्ट्स ने गहरी चिंता जताई कि यमुना नदी में जहरीले झागों में अमोनिया और फॉस्फेट की मात्रा बहुत ज्यादा है। इससे स्वास्थ्य को गंभीर नुकसान पहुंच सकता है। छठ पूजा जैसे प्रमुख त्यौहार नजदीक आ रहे हैं। इस दौरान जहरीले झागों की वजह से दिक्कत हो सकती हैं।

हालांकि दिल्ली में पॉल्यूशन पर इमरजेंसी मीटिंग हुई थी। पर्यावरण मंत्री गोपाल राय के मुताबिक कुल 13 हॉटस्पॉट हैं, जहां एक्यूआई 300 को पार कर गया है। मंत्री ने अधिकारियों को जरूरी कदम उठाने के निर्देश दिए और कहा कि पॉल्यूशन इतना ज्यादा क्यों हो रहा है, इसकी वजह पता करें। खैर, दिल्ली सरकार के दावों पर भरोसा भी कर लिया जाए तो लाख टके का सवाल यही है कि मुसीबत सिर पर आने के बाद ही वॉर-स्टाइल में कार्रवाई क्यों करनी पड़ रही है। देश की राजधानी होने के नाते दिल्ली को प्रदूषण मुक्त बनाने के लिए केंद्र सरकार को भी सकारात्मक रवैया अपनाते हुए गंभीरतापूर्वक दिल्ली सरकार का सहयोग करना चाहिए। इसके उलट बीजेपी नेता भी इस मुद्दे पर राजनीतिक करने लगे, जिनकी केंद्र में सरकार है। आप पर तोहमत लगाने के साथ ही वे अपनी केंद्र सरकार से इस मामले में कम से कम अपील तो कर सकते हैं।

————

 

Leave a Comment