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नया संकट : एनएचएआई प्रोजेक्टस पूरे करने को जमीनें नहीं मिल रहीं, जबकि मुआवजा राशि बढ़ी

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राहत की बात : लुधियाना से राज्यसभा सांसद अरोड़ा के प्रयास से महानगर से जुड़े दो प्रोजेक्ट के टेंडर लगे

लुधियाना 10 जुलाई। एनएचएआई के कई अहम प्रोजेक्ट्स उनके लिए जरुरत मुताबिक जमीनें एक्वायर ना हो पाने की वजह से अधर में लटके हैं। लुधियाना समेत पंजाब में कई जगह किसान इन प्रोजेक्टस के लिए अपनी जमीनें देने को राजी नहीं हैं। भले ही इन जमीनों के अधिग्रहण के लिए मुआवजा राशि उनकी मांग के अनुसार बढ़ा दी गई है।

इसी मुख्य संकट का हाल तलाशने की मंशा से लुधियाना से राज्यसभा सांसद संजीव अरोड़ा ने चंडीगढ़ में भारतीय राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण यानि एनएचएआई से फिर संपर्क किया। उन्होंने एनएचएआई के क्षेत्रीय अधिकारी विपनेश शर्मा से मीटिंग की। इस दौरान पंजाब में चल रही सभी एनएचएआई परियोजनाओं पर चर्चा की गई। अरोड़ा ने बताया कि इस बैठक के दौरान एक महत्वपूर्ण पहलू सामने आया कि जमीन एक्वायर ना हो पाना मुख्य तकनीकी समस्या बनी है।

लुधियाना, गुरदासपुर में जमीनी-दिक्कत : एनएचएआई के अफसरों के मुताबिक दिल्ली-कटरा एक्सप्रेसवे प्रोजेक्ट के पंजाब से गुजरने वाले 400 किमी हिस्से में बड़ी अड़चन बनी है। इसमें से लगभग 100 किमी लंबे हिस्से के लिए जमीन ही उपलब्ध नहीं है। इस हिस्से का अधिकांश एरिया लुधियाना और गुरदासपुर जिलों में है। नतीजतन यह प्रोजेक्ट अभी भी अधूरा है। हालांकि, हरियाणा में किसानों ने तो इस प्रोजेक्ट के लिए एनएचएआई को जरुरत मुताबिक जमीन पहले ही दे दी।

फंसा लुधियाना-रोपड़ एक्सप्रेस-वे भी : महत्वकांक्षी लुधियाना-रोपड़ एक्सप्रेस-वे प्रोजेक्ट में भी जमीनी-अड़चन बरकरार है। किसानों द्वारा भूमि उपलब्ध नहीं कराए जाने से यह प्रोजेक्ट भी अधर में लटका है। इसके अलावा एनएचएआई को चंडीगढ़-खरड़ राजमार्ग प्रोजेक्ट के लिए फतेहगढ़ साहिब जिले में उच्चा पिंड के पास भूमि के कुछ हिस्से को अधिग्रहित करने में समस्या का सामना करना पड़ रहा है। सांसद अरोड़ा ने अब इस मामले को फतेहगढ़ साहिब में डीसी परनीत शेरगिल के सामने उठाया है। डीसी ने आश्वासन दिया कि वे जल्द ही इस मामले में कुछ ठोस कदम उठाएंगे।

लुधियाना में एक और प्रोजेक्ट का टेंडर : एनएचएआई के क्षेत्रीय अधिकारी विपनेश शर्मा ने सांसद अरोड़ा ने एक अच्छी जानकारी दी। जिसके मुताबिक लुधियाना साउदर्न बाईपास ग्रीनफील्ड हाईवे प्रोजेक्ट का फिर से टेंडर लगाया है। इसके आदेश केंद्रीय सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्री नितिन गडकरी ने दिए थे। पिछले महीने उनसे सांसद अरोड़ा ने मुलाकात की थी। इस प्रोजेक्ट में भी देरी संबंधित भूमि मालिकों द्वारा एनएचएआई को 20 प्रतिशत जमीन का कब्जा नहीं दिया जाना रहा। इस मामले को डिप्टी कमिश्नर लुधियाना साक्षी साहनी के समक्ष उठाया गया है।

साइकिल ट्रैक के भी टेंडर जारी : लाडोवाल बाईपास के साथ 21 किलोमीटर लंबे साइकिल ट्रैक के निर्माण के लिए एनएचएआई द्वारा टेंडर जारी कर दिए गए हैं। इस प्रोजेक्ट के लिए जमीन की कोई समस्या नहीं है। सांसद अरोड़ा ने उम्मीद जताई कि इस प्रोजेक्ट पर जल्द ही काम शुरू हो जाएगा। एनएचएआई ने पायलट प्रोजेक्ट के तौर पर शुरू किया है, ऐसे प्रोजेक्ट देश में बहुत कम हैं।

पार्किंग स्लॉट के काम में प्रगति : लुधियाना में एलिवेटेड रोड के साथ पार्किंग स्लॉट की परियोजना पर काम चल रहा है। जिसे नेशनल हाईवे लॉजिस्टिक्स मैनेजमेंट लिमिटेड संभाल रहा है।  जल्द ही कुछ सकारात्मक सामने आएगा। सांसद अरोड़ा ने कहा कि अगर जमीन की अनुपलब्धता के कारण नेशनल हाईवे प्रोजेक्ट पूरे नहीं हुए तो पंजाब को काफी नुकसान होगा। उन्होंने कहा कि सड़क बुनियादी ढांचा किसी भी राज्य के औद्योगिक और आर्थिक विकास में अहम भूमिका निभाता है।

सिधवां पर पुलों का रुका काम शुरु होगा : सिधवां नहर पर चार पुलों के निर्माण का काम नदी के बहते पानी के कारण रुका हुआ है। इस मामले को भी सांसद अरोड़ा ने जल संसाधन पंजाब के प्रमुख सचिव कृष्ण कुमार के समक्ष उठाया है। जो आने वाले सोमवार तक पानी के गेट बंद करने की तारीख के बारे में फैसला कर सकते हैं। उन्होंने कहा कि सिधवां नहर में पानी कम होते ही ठेकेदार इन चार पुलों पर निर्माण कार्य शुरू कर देगा।

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