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किसान जत्थेबंदियों का दोटूक ऐलान, केंद्र उनकी मांगें जब तक नहीं मानेगा, उनका आंदोलन इसी तरह चलेगा

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चंडीगढ़ में कहा-8 जुलाई से गैर-भाजपा सांसदों को देंगे ज्ञापन, फिर 18 को हरियाणा के अंबाला में करेंगे प्रदर्शन

चंडीगढ़ 20 जून। आंदोलित किसान अपनी मांगें पूरी नहीं होने तक किसी भी सूरत में संघर्ष खत्म नहीं करेंगे। उन्होंने केंद्र सरकार द्वारा 14 फसलों पर एमएसपी बढ़ाने के फैसले को मानने से साफ इंकार कर दिया।

यहां किसान भवन में प्रेस कॉन्फ्रेंस में किसान नेताओं ने केंद्र सरकार पर पलटवार किए। साथ ही चेतावनी दी कि मांगें पूरी नहीं होने तक तक उनका धरना जारी रहेगा। किसान नेता जगजीत सिंह ढल्लेवाल व सरवन सिंह पंधेर मीडिया से मुखातिब हुए। उन्होंने कहा कि बीते दिन 14 फसलों पर एमएसपी बढ़ाई गई।

असल मुद्दे का जवाब मांगा : हर छह महीने बाद एमएसपी को बढ़ाया जाएगा, लेकिन बढ़ी एमएसपी पर खरीद कराना ही सबसे बड़ा मुद्दा है। इसी के लिए किसान लीगल गारंटी कानून की मांग कर रहे हैं। उन्होंने केंद्र सरकार से सवाल किया कि धान की खरीद पर 117 रुपए की बढ़ोतरी करने से क्या किसानों का घर चल जाएगा। हमारी लागत व खर्चे कितने हैं, सरकार इन मुद्दों पर हमसे बात करे।

विपक्ष से मदद मांगेंगे : किसान नेताओं ने ऐलान किया कि 8 जुलाई को सभी भाजपा सांसदों को छोड़कर अन्य दलों के एमपी को मांगपत्र दिए जाएंगे। किसानों का कहना है कि अब संसद का समर सैशन शुरु होना है। गैर-भाजपा सांसदों से आग्रह किया जाएगा कि उनके मुद्दों को सदन में उठाया जाए।

अंबाला में एसपी दफ्तर घरेंगे : किसान नेताओं ने कहा कि उनके साथी नवदीप सिंह को गिरफ्तार कर पहले 9 और अब तकरीबन 16 केस डालने की तैयारी है। नवदीप को टॉर्चर किया जा रहा है। हरियाणा सरकार किसानों के वारंट निकाल रही है। लिहाजा अंबाला में एसपी कार्यालय के बाहर 17 जुलाई को घेराव कर हरियाणा सरकार के खिलाफ मोर्चा खोला जाएगा। इस मौके पर किसान नेताओं ने केंद्र और राज्य सरकारों से मानसून के मद्देनजर बाढ़ से फसलों को बचाने के प्रबंध करने की मांग रखी। जबकि पीएम नरेंद्र मोदी पर तंज कसा कि वह बच्चों को सुनहरे भविष्य के ख्वाब दिखा रहे हैं। जबकि नीट जैसे महाघोटाले से स्टूडेंट्स का भविष्य अंधकार में जा रहा है।

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