चंडीगढ़ : पूर्व मेयर कुलदीप कुमार पर एफआईआर का मामला फिर चर्चा में

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कुलदीप का दावा, सियासी-साजिश थी, अगर कोई सबूत होता तो उनको अरेस्ट करते, सिर्फ दो बार पूछताछ की

चंडीगढ़, 19 मई। ट्राईसिटी के पूर्व मेयर कुलदीप कुमार के खिलाफ क्राइम ब्रांच में करप्शन के आरोप में  इसी साल जनवरी के अंत में एफआईआर दर्ज की गई थी। जिसकी जांच फिलहाल ठंडे बस्ते में है।

जानकारी के मुताबिक इस मामले में पूर्व मेयर कुलदीप ने अब दावा किया है कि यह राजनीतिक साजिश भर थी। अगर उनके खिलाफ कोई सबूत होता तो पुलिस उनको अरेस्ट कर लेती। हालांकि अभी तक चार महीने में पुलिस ने उनसे सिर्फ दो बार ही पूछताछ की। कुलदीप का तर्क है कि जिस रिकॉर्डिंग के आधार पर उनके खिलाफ केस दर्ज किया। पुलिस पहले ही रिकॉर्डिंग को सीएफएसएल भेजकर जांच कराती। जांच में पुष्टि होने के बाद कार्रवाई करते, लेकिन पता नहीं इतनी जल्दी क्यों थी।

वहीं, पुलिस का कहना है कि कंपनियों से कुछ डेटा मांगा गया था, कुछ आ गया और कुछ बाकी है। केस की जांच चल रही है। यहां बता दें कि चंडीगढ़ में नए मेयर के चुनाव से कुछ घंटे पहले ही तत्कालीन मेयर कुलदीप के खिलाफ भ्रष्टाचार का मामला दर्ज किया गया था। चंडीगढ़ क्राइम ब्रांच ने मेयर कुलदीप टीटा और उनके साले राहुल के खिलाफ केस दर्ज किया था। दोनों पर रवि नामक व्यक्ति से सफाईकर्मी की नौकरी लगवाने के नाम पर 75 हज़ार रुपए लेने का आरोप लगाया था। यह शिकायत रवि नाम के शख्स ने एसएसपी विंडो पर शिकायत दी थी।

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